28.05.2019
"...तुमको अभी पता पड़ा है कि रावण भारत का दुश्मन है,
जिसने भारत को कितना दु:खी, कंगाल बना दिया है।
सभी 5 विकारों रूपी रावण के पंजे में फँसे हुए हैं।
बच्चों को अन्दर में यह आना चाहिए -
कैसे औरों को भी रावण से छुड़ायें।
सर्विस हो सकती हैं तो प्रबन्ध करना है।
सच्चे दिल से, नि:स्वार्थ भाव से सेवा करनी है।
बाबा कहते हैं ऐसे बच्चों की हुण्डी मैं सकारता (भरता) हूँ।
ड्रामा में नूँध है।
सर्विस का अच्छा चान्स है तो
इसमें पूछने का भी नहीं रहता।
बाप ने कह दिया है सर्विस करते रहो।
मांगो कोई से भी नहीं।
मांगने से मरना भला।
आपेही तुम्हारे पास आ जायेगा।..."
27.05.2019
"...बाप उनको बैठ याद करते हैं जो सितारे अच्छे चमकते हैं, जो बहुत सर्विस करते हैं, उनको करेन्ट मिलती जाती है। तुम्हारी बैटरी भरती जाती है। तमोप्रधान से सतोप्रधान बनने के लिए सर्च लाइट मिलती है नम्बरवार पुरूषार्थ अनुसार। बाप कहते हैं जो मेरे अर्थ सब कुछ त्याग सर्विस में लगे रहते हैं, वह बहुत प्यारे लगते हैं। दिल पर भी चढ़ते हैं। ..."
22.05.2019
"...यह तो बच्चे भी समझ सकते हैं। टीचर भी समझते हैं। एक-एक बच्चे पर नज़र जाती है कि क्या कर रहे हैं? मेरे अर्थ क्या सर्विस कर रहे हैं? सब फूलों को देखते हैं। फूल तो सब हैं। बगीचा है ना। हर एक अपनी अवस्था को जानते हैं। ..."
20.05.2019
"...मैं आकर इन बच्चों द्वारा कार्य कराता हूँ। बाबा के साथ सर्विस करने वाले तुम ब्राह्मण ही हो, जिनको खुदाई खिदमतगार कहा जाता है। यह सबसे अच्छे ते अच्छी खिदमत है। बच्चों को श्रीमत मिलती है - ऐसे-ऐसे करो। ..."
19.05.2019
"...अब गोल्ड बने हो लेकिन गोल्ड को अब अग्नि में गलाओ तो मोल्ड भी हो सके। इस कमी के कारण सर्विस की सफलता में कमी पड़ती है। अपने वा दूसरे की बीती को नहीं देखो तो सरलचित हो जायेंगे।..."
17.05.2019
"...बाप बच्चों को ही याद करते हैं। जो सर्विसएबुल बच्चे हैं। बाप है सर्वशक्तिमान्। उस बाप को ही याद करते हैं, तो याद से याद मिलती है। जहाँ-जहाँ ऐसे-ऐसे सर्विसएबुल बच्चे हैं तो ज्ञान सूर्य बाप भी उन्हों को याद करते हैं।..."
15.05.2019
"... योग वाले फिर ज्ञानी भी होते हैं इसलिए उन्हों को सर्विस पर भी भेज देते हैं।..."
15.05.2019
"... सर्विस से, योग से बल भी आता है क्योंकि तुम्हारी कमाई होती है।..."
11.05.2019
"...जवाहरात को बहुत अच्छी रीति मैग्नीफाय ग्लास से देखना होता है - इसमें कहाँ तक डिफेक्ट है! यह कौन-सा रत्न है? कहाँ तक सर्विसएबुल है? दिल होती है रत्नों को देखने की। अच्छा रत्न होगा तो उसको बहुत प्यार से देखेंगे। यह बड़ा अच्छा है। इसको तो सोने की डिब्बी में रखना चाहिए। ..."
"...बाबा आज क्यों उठे? देखने लिए कि कौन-कौन सर्विसएबुल बच्चा है? क्योंकि कहाँ कोई, कहाँ कोई बैठे रहते हैं। तो बाबा ने उठकर एक-एक को देखा - इनमें क्या गुण हैं? ..."
"...अन्त में अगर कुछ भी याद पड़ा तो दण्ड पड़ जायेगा। इतनी अपनी अवस्था मजबूत बनानी है और सर्विस भी करनी है। अन्दर में समझना है - ऐसी अवस्था जब बनायें तब यह पद मिल सकता है। बाप तो अच्छी रीति समझाते हैं, बहुत सर्विस रही हुई है। तुम्हारे में भी बल होगा तो उनको कशिश होगी। अनेक जन्मों की कट लगी हुई है, यह ख्यालात तुम ब्राह्मणों को रखने हैं। सभी आत्माओं को पावन बनाना है। ..."
10.05.2019
"... इन्हों की तो भट्ठी बननी थी, जो तैयार हो निकली सर्विस के लिए। देखते हैं पुराने-पुराने जो हैं वह अच्छी सर्विस कर रहे हैं।..."
"...यहाँ कोई-कोई बच्चे तो बहुत हड्डी सर्विस करते हैं। सर्विस के लिए जैसे एकदम तड़फते हैं। बहुत मेहनत करते हैं। यह भी तुम जानते हो कि बड़े आदमी इतना नहीं समझ सकेंगे। परन्तु तुम्हारी मेहनत कोई व्यर्थ नहीं जाती है। ..."
"...कांटों से अच्छा फूल बन पड़े हैं इसलिए बाबा एक-एक को बैठ देखते हैं - इनमें क्या-क्या कमी है? यह कमी इनमें से निकल जाए तो बहुत अच्छी सर्विस करें। बागवान है ना। दिल होता है - उठकर पिछाड़ी में भी जाकर देखूँ क्योंकि पिछाड़ी में भी जाकर बैठते हैं।..."
07.05.2019
"... बहुत थोड़े हैं जो सरलता से चलते हैं। सर्विस बिगर और कुछ भी बुद्धि में रहता नहीं। माला में आना है तो मेहनत करनी चाहिए।..."
03.05.2019
"...बाबा पूछते हैं नर से नारायण कौन बनेंगे तो सब हाथ उठाते हैं। यूँ तो खुद समझते हैं जो जास्ती सर्विस करते हैं वो बाप को भी याद करते हैं। बाप से प्यार है तो याद भी उनकी रहेगी। ..."